(अ) व्यय विभाग - मध्यस्थताऔर निर्णायकों पर नीति संबंधी दिशा-निर्देश
डीओई के दिशा-निर्देशों के अनुसार, सीएमडी/एमआरवीसी ने निम्नलिखित मदों को अनुमोदित किया है। इनका अनुपालन सुनिश्चित किया जाए।
1. उन अनुबंधों/निविदाओं में मध्यस्थता खंड को शामिल किया जाए, जहां विवाद मूल्य 10 करोड़ रुपये से कम है। यह आंकड़ा विवाद के मूल्य से संबंधित है, न कि अनुबंध के मूल्य के संदर्भ में। बोली शर्तों/अनुबंध की शर्तों में यह स्पष्ट रूप से उल्लेख किया जाए कि अन्य सभी मामलों में, अनुबंध में मध्यस्थता विवाद समाधान की विधि नहीं होगा। (10 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य वाले विवादों को कवर करने वाले मध्यस्थता खंडों को शामिल करने के लिए कारणों की रिकॉर्डिंग और सीएमडी के अनुमोदन के साथ किया जाए)।
2. 10 करोड़ रुपये से अधिक के विवाद मूल्य वाले अनुबंधों को कानून की अदालत में मुकदमेबाजी के माध्यम से निपटाया जाएगा।
(ब) एमआरवीसी - मध्यस्थता और निर्णायकों पर नीति